सीबीआई ने अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत की मौत से जुड़े दो अलग-अलग मामलों में क्लोजर रिपोर्ट दाखिल की है। एक रिपोर्ट उनके पिता के के सिंह की शिकायत पर और दूसरी रिपोर्ट रिया चक्रवर्ती की शिकायत पर आधारित है। अधिकारियों ने शनिवार को इस बात की जानकारी दी।
के के सिंह की शिकायत में सुशांत को आत्महत्या के लिए उकसाने और वित्तीय धोखाधड़ी का आरोप लगाया गया था। इस रिपोर्ट को पटना की विशेष अदालत में दाखिल किया गया। दूसरी रिपोर्ट रिया चक्रवर्ती की शिकायत पर आधारित है, जिसमें उन्होंने आरोप लगाया था कि सुशांत की बहनों ने उन्हें झूठे प्रिस्क्रिप्शन पर दवाइयां दी थीं। यह रिपोर्ट मुंबई की विशेष अदालत में दाखिल की गई। अब अदालतों के पास यह फैसला होगा कि वे इन रिपोर्टों को स्वीकार करें या आगे की जांच का आदेश दें।
रिया चक्रवर्ती के वकील का बयान
रिया चक्रवर्ती के वकील सतीश मनेशिंदे ने इस विकास का स्वागत किया और कहा, “हम सीबीआई के आभारी हैं जिन्होंने इस मामले की हर पहलु से जांच की और इसे बंद कर दिया।” उन्होंने यह भी कहा, “सोशल मीडिया और इलेक्ट्रॉनिक मीडिया में फैली झूठी कहानी पूरी तरह से अनुचित थी।”
सुशांत की मौत और सीबीआई जांच
सुशांत सिंह राजपूत 14 जून 2020 को मुंबई के बांद्रा स्थित अपने अपार्टमेंट में फांसी से लटके हुए पाए गए थे। उनका पोस्टमार्टम कुपर अस्पताल में किया गया था, जिसमें उनकी मौत की वजह एस्फिक्सिया बताई गई थी।
सीबीआई ने दो मामले जांचे थे — एक केस सुशांत के पिता के द्वारा पटना में दर्ज कराया गया था, जिसमें रिया चक्रवर्ती पर आत्महत्या के लिए उकसाने और ₹15 करोड़ की धोखाधड़ी का आरोप था। दूसरा केस रिया चक्रवर्ती की शिकायत पर था, जिसमें उन्होंने सुशांत की बहनों पर एक झूठे प्रिस्क्रिप्शन के आधार पर उन्हें दवाइयां देने का आरोप लगाया था।
सीबीआई की क्लोजर रिपोर्ट पर जानकारी
अधिकारियों ने बताया कि सीबीआई ने अपनी क्लोजर रिपोर्ट को विशेषज्ञों की राय, फॉरेंसिक रिपोर्ट्स, क्राइम सीन विश्लेषण और गवाहों के बयान के आधार पर तैयार किया। जांच में यह पाया गया कि कोई ठोस सबूत नहीं मिले हैं जो यह साबित कर सके कि किसी ने सुशांत को आत्महत्या करने के लिए उकसाया।
AIIMS मेडिकल बोर्ड ने भी अपनी रिपोर्ट में यह साफ किया था कि सुशांत की मौत न तो जहर से हुई थी और न ही गला घोंटने से।
सतीश मनेशिंदे ने इस मामले का जिक्र करते हुए कहा कि यह केस कोविड महामारी के दौरान सामने आया जब सार्वजनिक ध्यान पूरी तरह से सोशल मीडिया पर था। उन्होंने कहा, “निर्दोष लोगों को मीडिया और जांच एजेंसियों के सामने नचाया गया। रिया चक्रवर्ती को कई दुखों का सामना करना पड़ा और उन्हें 27 दिन तक जेल में रहना पड़ा, फिर वह जमानत पर रिहा हुईं।”