भगवान शिव को समर्पित सावन का महीना हिंदू कैलेंडर में अत्यधिक पूजनीय अवधि है। सावन का दूसरा सोमवार, जिसे सावन सोमवार के नाम से जाना जाता है, भगवान शिव का आशीर्वाद पाने वाले भक्तों के लिए विशेष महत्व रखता है। इस साल दूसरा सावन सोमवार 29 जुलाई, 2024 को पड़ रहा है, जो भक्तों के लिए विशेष अनुष्ठान और प्रार्थना करने का शुभ अवसर प्रस्तुत करता है।
पूजा का शुभ समय:
ज्योतिषियों के अनुसार, सावन के दूसरे सोमवार को भगवान शिव की पूजा करने का सबसे शुभ समय ब्रह्म मुहूर्त है, जो सुबह 4:12 बजे शुरू होकर सुबह 5:00 बजे समाप्त होता है। दूसरा अनुकूल समय प्रदोष काल है, जो शाम 6:45 बजे से रात 9:00 बजे तक है। माना जाता है कि इस अवधि के दौरान अनुष्ठान करने से अपार आध्यात्मिक लाभ मिलते हैं और मनोकामनाएं पूरी होती हैं।
पूजा विधि:
1. शुद्धिकरण: सुबह जल्दी उठकर स्नान करें और साफ-सुथरे, अधिमानतः सफेद या हल्के रंग के कपड़े पहनें, जो पवित्रता और भक्ति का प्रतीक है।
2. वेदी स्थापित करना: भगवान शिव की मूर्ति या तस्वीर के साथ वेदी के लिए एक साफ जगह तैयार करें। वेदी को ताजे फूलों, विशेष रूप से सफेद और लाल फूलों से सजाएँ और घी का दीपक और अगरबत्ती जलाएँ।
3. जल और दूध चढ़ाना: शिव लिंगम या मूर्ति का जल और दूध से अभिषेक करें, जो पवित्रता और भक्ति का प्रतीक है। अभिषेक के लिए जल, दूध, शहद और दही के मिश्रण का उपयोग करें, साथ ही “ओम नमः शिवाय” मंत्र का जाप करें।
4. प्रसाद: भगवान शिव को बिल्व पत्र, सफेद फूल, फल और मिठाई जैसे प्रसाद चढ़ाएँ। बिल्व के पत्तों को बहुत शुभ माना जाता है और कहा जाता है कि वे भगवान शिव के प्रिय हैं।
5. मंत्रों का जाप: महामृत्युंजय मंत्र और रुद्र अष्टकम का पाठ करें, साथ ही भगवान शिव को समर्पित अन्य प्रार्थनाएँ और भजन भी करें। माना जाता है कि इन मंत्रों का भक्ति भाव से जाप करने से स्वास्थ्य, धन और खुशियाँ मिलती हैं।
6. ध्यान और आरती: पूजा का समापन आरती के साथ करें, आरती गीत गाते हुए मूर्ति के सामने घी के दीपक को गोलाकार गति में घुमाएँ। कुछ पल ध्यान में बिताएँ, भगवान शिव का आशीर्वाद लें और आभार व्यक्त करें।
लाभों के नए प्रमाण:
सावन सोमवार व्रत और अनुष्ठान करने वाले भक्तों की हालिया गवाही ने उनके जीवन में महत्वपूर्ण सकारात्मक बदलावों की सूचना दी है। कई लोगों ने बेहतर स्वास्थ्य, व्यक्तिगत और वित्तीय मुद्दों के समाधान और शांति और आध्यात्मिक संतुष्टि की गहरी भावना के अनुभव साझा किए हैं।
जैसे-जैसे सावन का दूसरा सोमवार नजदीक आ रहा है, भक्तों को ईमानदारी और भक्ति के साथ इन अनुष्ठानों का पालन करने के लिए प्रोत्साहित किया जाता है। भगवान शिव को प्रसन्न करके, कोई भी व्यक्ति उनका दिव्य आशीर्वाद और कृपा प्राप्त कर सकता है, जिससे समृद्धि, खुशी और आध्यात्मिक विकास से भरा जीवन सुनिश्चित होता है।