
नई दिल्ली: आईआरएस अधिकारी समीर वानखेड़े द्वारा शाहरुख खान और गौरी खान की कंपनी रेड चिलीज़ एंटरटेनमेंट, नेटफ्लिक्स और अन्य के खिलाफ दायर मानहानि याचिका पर आज 8 अक्टूबर 2025 को दिल्ली हाईकोर्ट में सुनवाई हुई। वानखेड़े का आरोप है कि वेब सीरीज “The Bads of Bollywood” में उन्हें नकारात्मक और भ्रामक रूप से दर्शाया गया है, जिससे उनकी छवि को नुकसान पहुंचा है।
न्यायमूर्ति पुरुषेन्द्र कुमार कौरव की अदालत ने नेटफ्लिक्स और रेड चिलीज़ एंटरटेनमेंट को नोटिस जारी कर उनके जवाब दाखिल करने का आदेश दिया है। हालांकि कोर्ट ने अब तक कोई अंतरिम आदेश जारी नहीं किया है, लेकिन प्रतिवादियों को निर्देश दिया गया है कि वे वानखेड़े की उस मांग पर अपना पक्ष रखें, जिसमें उन्होंने सीरीज के कथित आपत्तिजनक कंटेंट को विभिन्न वेबसाइट्स से हटाने की मांग की है।
अदालत में क्या हुआ?
पिछली सुनवाई के दौरान कोर्ट ने समीर वानखेड़े को निर्देश दिया था कि वे अपनी याचिका को संशोधित कर यह स्पष्ट करें कि यह याचिका दिल्ली में क्यों दायर की गई है। इसके बाद सीनियर एडवोकेट संदीप सेठी ने कोर्ट में संशोधित याचिका प्रस्तुत की और उसमें तर्क दिए कि यह मामला दिल्ली में सुनवाई योग्य है।
दूसरी ओर, नेटफ्लिक्स की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता राजीव नायर ने कोर्ट में दलील दी कि सभी पक्ष एक ही स्थान पर निवास नहीं करते, इसलिए यह मामला दिल्ली में विचारणीय नहीं है।
₹2 करोड़ का हर्जाना, कैंसर पीड़ितों को दान का प्रस्ताव
समीर वानखेड़े ने अपनी याचिका में ₹2 करोड़ रुपये का हर्जाना मांगा है। उन्होंने कहा है कि अगर उन्हें यह राशि मिलती है तो वह इसे टाटा मेमोरियल कैंसर अस्पताल को दान करेंगे ताकि कैंसर पीड़ितों की मदद की जा सके।
याचिका में कहा गया है कि यह वेब सीरीज नशीले पदार्थों के खिलाफ काम करने वाली एजेंसियों की छवि को धूमिल करती है और जनता के बीच कानून प्रवर्तन एजेंसियों के प्रति विश्वास को कमजोर करती है।
आर्यन खान केस का जिक्र
याचिका में यह भी तर्क दिया गया है कि यह सीरीज एक पूर्व नियोजित प्रयास है, जिसका उद्देश्य वानखेड़े को बदनाम करना है। गौरतलब है कि समीर वानखेड़े ने ही शाहरुख खान के बेटे आर्यन खान को ड्रग्स केस में गिरफ्तार किया था, जो मामला अब भी बॉम्बे हाईकोर्ट और एनडीपीएस स्पेशल कोर्ट में अपील के तौर पर लंबित है।
अगली सुनवाई 30 अक्टूबर को
कोर्ट ने सभी प्रतिवादियों से जवाब दाखिल करने को कहा है और इस मामले की अगली सुनवाई के लिए 30 अक्टूबर 2025 की तारीख निर्धारित की है। अब देखने वाली बात होगी कि क्या कोर्ट इस वेब सीरीज के कंटेंट को हटाने का कोई आदेश देती है या यह मामला और लंबा खिंचता है।