Pahalgam Terror Attack Update: पहलगाम आतंकी हमले को एक महीना, जानें कहां तक पहुंची जांच

Pahalgam Terror Attack Update: पहलगाम आतंकी हमले को एक महीना, जानें कहां तक पहुंची जांच
Pahalgam Terror Attack Update: पहलगाम आतंकी हमले को एक महीना, जानें कहां तक पहुंची जांच

श्रीनगर: जम्मू-कश्मीर की सुरम्य बैसरन घाटी में हुए भीषण आतंकी हमले को आज एक महीना बीत चुका है, लेकिन उस दिन की दहशत और दर्द अब भी लोगों के दिलों में ताजा है। इस खूबसूरत पर्यटन स्थल पर 26 निर्दोष लोगों की जान लेने वाले हमले ने न सिर्फ कश्मीर को दहला दिया, बल्कि भारत-पाकिस्तान संबंधों में भी नई तल्खी पैदा कर दी है।

सीमा पार से आए आतंकियों ने लीं 26 जानें

गुज़रे 30 दिनों में इस हमले को लेकर कई खुलासे सामने आए हैं। प्रारंभिक जांच में स्पष्ट हुआ कि यह हमला सीमा पार से प्रायोजित था। पांच heavily armed आतंकियों ने पर्यटकों से भरी घाटी में अंधाधुंध फायरिंग की थी, जिसमें महिलाएं और बच्चे भी मारे गए।

भारत की जवाबी कार्रवाई

भारत ने इस हमले को पाकिस्तान प्रायोजित आतंकवाद करार देते हुए कड़ी सैन्य प्रतिक्रिया दी। भारतीय वायुसेना ने पाकिस्तान और पाक अधिकृत कश्मीर (PoK) में स्थित 9 आतंकी ठिकानों पर एयर स्ट्राइक की। इन ठिकानों में लश्कर-ए-तैयबा और जैश-ए-मोहम्मद जैसे संगठनों के नेटवर्क मौजूद थे। यह कार्रवाई मुरीदके, बहावलपुर और कोटली जैसे क्षेत्रों में की गई, जो वर्षों से भारत-विरोधी आतंकी गतिविधियों के गढ़ रहे हैं।

NIA की जांच में तेजी

राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने मामले की गंभीरता को देखते हुए जांच अपने हाथ में ली है। अब तक एजेंसी ने 150 से अधिक लोगों से पूछताछ की है, जिनमें टट्टूवाले, दुकानदार, गाइड और स्थानीय फोटोग्राफर शामिल हैं। जांच में सामने आया है कि हमले में शामिल पांच आतंकियों में से तीन पाकिस्तान के नागरिक हो सकते हैं। इनके स्केच जारी किए गए हैं और सूचना देने वालों को 20-20 लाख रुपये का इनाम घोषित किया गया है।

सुरक्षा बलों का ऑपरेशन

हमले के बाद दक्षिण कश्मीर में सुरक्षा बलों ने सघन अभियान चलाए, जिनमें 6 स्थानीय आतंकी मारे गए। इनमें TRF (The Resistance Front) का एक टॉप कमांडर भी शामिल था। पुलिस का मानना है कि इसी संगठन ने पहलगाम हमले को अंजाम दिया। साथ ही सैकड़ों संदिग्धों को हिरासत में लिया गया है, जिनमें कई ओवर ग्राउंड वर्कर (OGW) भी शामिल हैं। कुछ पर पब्लिक सेफ्टी एक्ट (PSA) के तहत केस दर्ज किया गया है।

डिजिटल साक्ष्य और खुफिया तंत्र के सहारे जांच

पुलिस सूत्रों के अनुसार, शुरुआती जांच में आतंकियों के डिजिटल फुटप्रिंट मिले थे और उनके संचार नेटवर्क को ट्रैक किया गया था। हालांकि, हमले के बाद से आतंकी पूरी तरह ऑफलाइन हो गए हैं, जिससे जांच में कुछ बाधा आई है। लेकिन ग्राउंड इंटेलिजेंस और स्थानीय सूत्रों की मदद से जांच जारी है।

पाकिस्तान को वैश्विक मंच पर बेनकाब

भारत अब इस हमले को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर उजागर करने की रणनीति पर काम कर रहा है। भारतीय सांसदों और नेताओं के प्रतिनिधिमंडलों को विभिन्न देशों में भेजा जा रहा है, ताकि यह बताया जा सके कि पाकिस्तान आज भी आतंक को पनाह दे रहा है। भारत का उद्देश्य है कि वैश्विक समुदाय पाकिस्तान पर दबाव बनाए और उसे आतंकवाद के खिलाफ कड़ी कार्रवाई के लिए विवश करे।

पहलगाम का यह हमला कश्मीर घाटी में शांति बहाली की कोशिशों पर गहरी चोट है। एक महीने बाद भी न सिर्फ पीड़ितों के परिवार, बल्कि पूरी घाटी सदमे में है। सुरक्षा बलों और जांच एजेंसियों की सक्रियता जारी है, और उम्मीद है कि दोषियों को जल्द कानून के कठघरे में लाया जाएगा।

Digikhabar Team
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