Madhya Pradesh News: Income Tax को मिला जंगल से 52 किलो सोना और 10 करोड़ नकद, इन नेताओं का नाम आया सामने

Madhya Pradesh News: Income Tax को मिला जंगल से 52 किलो सोना और 10 करोड़ नकद, इन नेताओं का नाम आया सामने
Madhya Pradesh News: Income Tax को मिला जंगल से 52 किलो सोना और 10 करोड़ नकद, इन नेताओं का नाम आया सामने

भोपाल में आयकर विभाग और लोकायुक्त पुलिस ने अलग-अलग छापेमारियों में करोड़ों रुपये की नकद राशि और सोना बरामद किया है, जिससे नेताओं, सरकारी अधिकारियों और रियल एस्टेट से जुड़े लोगों के बीच गहरी साठ-गांठ का खुलासा हुआ है।

सबसे हैरान करने वाली खोज में, मंदोरी जंगल के पास एक छोड़ दी गई इनोवा कार से 52 किलो सोने की बिस्किट्स (जिसकी कीमत ₹40 करोड़ से ज्यादा है) और ₹10 करोड़ की नकद राशि बरामद हुई। अधिकारियों ने खुफिया जानकारी के आधार पर कार्रवाई की, जिसमें बताया गया था कि सोना जंगल के रास्तों से लाया जा रहा है। पुलिस की 100 अफसरों और 30 गाड़ियों की टीम ने कार को घेर लिया। तलाशी लेने पर कार में दो बैग मिले, जिनमें सोना और नकद राशि थी।

कार का संबंध ग्वालियर के चेतन गौर से बताया जा रहा है, जो पूर्व आरटीओ कांस्टेबल सौरभ शर्मा का साथी है। जांचकर्ताओं को शक है कि बरामद संपत्तियों का संबंध सौरभ शर्मा और उन बिल्डरों से हो सकता है, जिनकी पहले से जांच चल रही है। इस समय कोई भी व्यक्ति सोने और नकद का दावा नहीं कर रहा है, और जांच जारी है।

इसी बीच, लोकायुक्त पुलिस ने भोपाल के अरेरा कॉलोनी में सौरभ शर्मा के घर पर छापेमारी की, जहां ₹1 करोड़ से ज्यादा की नकदी, आधा किलो सोना, हीरे, चांदी की छड़ें और संपत्ति के दस्तावेज बरामद किए गए।

इन छापेमारियों का हिस्सा रही यह बड़ी कार्रवाई पिछले दो दिनों से जारी है, जिसका उद्देश्य प्रमुख बिल्डरों को निशाना बनाना था। राजेश शर्मा, जो त्रिशूल कंस्ट्रक्शन्स के प्रमुख हैं और स्थानीय निर्माण क्षेत्र में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं, और आयकर विभाग की छापेमारी का शिकार हुए। बताया जा रहा है कि वह एक वरिष्ठ पूर्व अधिकारी और प्रभावशाली लोगों से जुड़े हैं, जिन्होंने उन्हें बड़े परियोजना अनुबंधों में मदद की।

तलाशी के दौरान ₹3 करोड़ की नकद राशि, लाखों रुपये मूल्य का सोने के गहने महत्वपूर्ण भूमि और संपत्ति अधिग्रहण से संबंधित दस्तावेज बरामद किए गए। अधिकारियों ने राजेश शर्मा के 10 लॉकर भी बरामद किए और पांच एकड़ ज़मीन की खरीद से जुड़े रिकॉर्ड भी मिले।

इन सब बातों से यह साफ है कि इस मामले में बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार का मामला सामने आ रहा है, जिसमें कई हाई-प्रोफाइल लोग शामिल हैं। जांच अभी भी जारी है, ताकि बरामद संपत्तियों के असली मालिकों और इनकी जड़ तक पहुंचा जा सके।

Digikhabar Editorial Team
DigiKhabar.in हिंदी ख़बरों का प्रामाणिक एवं विश्वसनीय माध्यम है जिसका ध्येय है "केवलं सत्यम" मतलब केवल सच सच्चाई से समझौता न करना ही हमारा मंत्र है और निष्पक्ष पत्रकारिता हमारा उद्देश्य.