नई दिल्ली: भगवान शिव के भक्तों के लिए पंच कैलाश सिर्फ पर्वत नहीं, बल्कि आत्मा से जुड़ी एक दिव्य यात्रा है। जहां कैलाश मानसरोवर को शिव का मुख्य धाम माना जाता है, वहीं इसके अलावा चार और कैलाश पर्वत हैं, जो उनकी रहस्यमयी उपस्थिति के प्रतीक माने जाते हैं।
1. कैलाश मानसरोवर:
तिब्बत में स्थित यह पर्वत शिव का मुख्य निवास स्थान माना जाता है। मान्यता है कि मानसरोवर झील का जल पीने से जन्मों के पाप कट जाते हैं। यह पर्वत अब तक कोई फतह नहीं कर सका है, क्योंकि यहां चढ़ाई के लिए केवल आध्यात्मिक ऊर्जा की आवश्यकता होती है।
2. आदि कैलाश (छोटा कैलाश):
उत्तराखंड के कुमाऊं क्षेत्र में स्थित यह स्थल वह जगह है जहां शिव योग और ध्यान में लीन रहते थे। यहीं पर शिव-पार्वती की बारात ने विश्राम किया था। पास में स्थित पार्वती झील भी अत्यंत पवित्र मानी जाती है।
3. मणिमहेश कैलाश:
हिमाचल प्रदेश के चंबा जिले में स्थित यह स्थान वह है जिसे शिव ने माता पार्वती के लिए बनाया था। इसकी चोटी पर स्थित एक शिला शिवलिंग के रूप में पूजी जाती है। यहां की झील में स्नान से सारे पाप दूर हो जाते हैं।
4. किन्नौर कैलाश:
माना जाता है कि यहीं पर शिव-पार्वती की पहली मुलाकात हुई थी। महाभारत में वर्णन है कि यहीं अर्जुन को शिव से पाशुपतास्त्र मिला था। यहां का शिवलिंग दिन के अलग-अलग समय में रंग बदलता है — सुबह सफेद, शाम को पीला और रात में काला।
5. श्रीखंड कैलाश:
सबसे कठिन यात्रा मानी जाने वाली श्रीखंड कैलाश यात्रा सिर्फ श्रावण मास में होती है। यहां विशाल शिवलिंग के साथ गणेश और कार्तिकेय की मूर्तियां भी मौजूद हैं।
पंच कैलाश की यात्रा सिर्फ एक तीर्थ नहीं, बल्कि एक आत्मिक जागृति का मार्ग है — जहां हर क़दम शिव के रहस्य को और गहरा कर देता है।