मां के निधन के कुछ ही घंटों बाद सुप्रीम कोर्ट पहुंचे जस्टिस ओका, क्यों सुर्खियों में बने जस्टिस ओका

नई दिल्ली: मां के अंतिम संस्कार के कुछ घंटों बाद मुंबई से दिल्ली लौट आए जस्टिस ओका.वे शुक्रवार को अपने पद से रिटायर हो रहे हैं.

जस्टिस अभय एस ओका

शुक्रवार को रिटायर हो रहे हैं. सुप्रीम कोर्ट के जज जस्टिस अभय एस ओका यह उनका आखिरी वर्किंग डे होगा, पर इससे ठीक पहले जस्टिस ओका की मां का निधन हो गया. एडवोकेट्स ऑन रिकॉर्ड एसोसिएशन की ओर से आयोजित विदाई समारोह में जस्टिस ओका ने हाल ही में मां का जिक्र किया था. उन्होंने कहा कि रिटायरमेंट के बाद मां के साथ वक्त बिताऊंगा, लेकिन अब ऐसा नहीं हो पाएगा. मां के निधन के कुछ ही घंटे बाद काम पर लौट कर एक बड़ी मिसाल भी पेश की है. आपको बता दें कि मुंबई के एक अस्पताल में जस्टिस ओका की मां वसंती ओका भर्ती थी और उन्होंने अस्पताल में ही आखिरी सांस ली

जस्टिस ओका के आखिरी दिन के 11 फैसले

शुक्रवार को रिटायर हो रहे हैं जस्टिस ओका और ये उनका आखिरी वर्किंग डे भी है होगा ‘बार एंड बेंच’ की खबर के मुताबिक जस्टिस ओका ने कहा, ”मैं कभी भी रिटायरमेंट के बारे में नहीं सोचता था, इसलिए जनवरी से जितना संभव हुआ उतने फैसलों की सुनवाई की.” जस्टिस ओका ने कहा कि उन्हें रिटायरमेंट शब्द पसंद नहीं है.

कौन है जस्टिस अभय एस ओका

जस्टिस ओका बॉम्बे हाईकोर्ट में 2003 में न्यायाधीश नियुक्त हुए। कर्नाटक हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश के रूप में मई 2019 से अगस्त 2021 तक अपनी भूमिका निभाई। इसके बाद अगस्त 2021 में सुप्रीम कोर्ट में प्रमोट हुए। कर्नाटक हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश रहते हुए उन्होंने नागरिकता संशोधन अधिनियम (CAA) के खिलाफ प्रदर्शन रोकने के लिए बेंगलुरु पुलिस द्वारा लगाए गए निषेधाज्ञा आदेश को अवैध घोषित किया था। एक मामले की सुनवाई के दौरान उन्होंने कहा था कि भारत के हर नागरिक को सरकार के फैसलों की आलोचना करने का अधिकार है।

Digikhabar Team
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